दोस्तो, हर Rich फैमिली में जरूर एक ऐसा पर्सन होता है जो खुद दिन रात मेहनत करने के बाद सेल्फ मेड मिलेनियर या बिलेनियर बनता है। तभी उसके बच्चे या आने वाली नेक्स्ट जनरेशन भी अमीर होती है। लेकिन दोस्तों रिच बनने से ज्यादा इम्पॉर्टेंट होता है हमेशा रिच बने रहना।
इसीलिए रिच पैरेंट्स अपने बच्चों को लाइफ और मनी से रिलेटेड कुछ ऐसी बातें सिखाते हैं जिनसे उनके बच्चे भी और रिच बनें और उनकी आनेवाली नेक्स्ट जनरेशन भी Rich ही हो। तो इस Article में हम आज आपसे वही 10 इम्पॉर्टेंट लेशन शेयर करने वाले हैं। जो रिच पैरंट्स अपने बच्चों को सिखाते हैं। जो आपको भी आपके अमीर और सक्सेसफुल बनने के सफर में बहुत मदद करेंगे।
अमीर माता-पिता अपने बच्चों की समृद्ध मानसिकता का निर्माण करते हैं
रिच पैरंट्स अपने बच्चों को ये बात सिखाते हैं। इस दुनिया में काफी पैसा है और उसे कमाने की कोई लिमिट नहीं है। अगर उनके बच्चे सिर्फ उतने में ही खुश रहेंगे जितना उनके पैरंट्स के पास है तो आने वाले कुछ सालों में वह पैसा और वेल्थ धीरे धीरे कम होता जाएगा। और उनकी आने वाली जेनरेशन भी रिच नहीं रह पाएंगी। तो आज रिचफुल रहने के साथ ही फ्यूचर के लिए अपनी वैल्थ को और मजबूत करना भी जरूरी है।
वहीं मिडल क्लास पैरंट्स अपने बच्चों को सिखाते हैं कि आप एक सिक्योर लाइफ की तरफ बढ़े। जो सेविंग्स से उसी पे लाइफ टाइम डिपेंड रहो या उसी से चीजें खरीदें। तभी वह अपने बच्चों पर हायर स्टडी के लिए दबाव डालते हैं। ताकि उनका बच्चा सिक्यॉरिटी से भरी जॉब कर पाए।
वहीं रिच पैरंट्स अपने बच्चों को इंटेलिजेंस, उनकी स्टडी से यह रिपोर्ट कार्ड से जज नहीं करते। बल्कि उनका मानना है, कि उनके बच्चे के अंदर वो सब हैं जो उन्हें रिच बना सकता है। उनके शब्द कुछ ऐसे होते हैं मुझे तो तुम पर पूरा भरोसा है कि तुम लाइफ में वो सब पा सकते हो जो तुम दिल से चाहते हो।
संपत्ति और लायबिलिटी के बीच अंतर
रिच पैरंट्स अपने बच्चों को सिखाते हैं कि अपनी मेहनत के पैसों से सिर्फ एसेट्स खरीदो ना की लायबिलिटी। और फिर उन ऐसेट से मिलने वाले पैसों से आप अपने शौक पूरे कर सकते हो या लायबिलिटी खरीद सकते हो। अभी आप सोच रहे होंगे कि ऐसेट और लायबिलिटी होती क्या है।
तो इसको बिल्कुल सिंपल वे में समझाया जाए तो एसेट्स वो होते हैं जो आपकी जेब में पैसा डालते हैं। जैसे एक सक्सेसफुल बिजनेस, प्रॉपर्टी से रेंट, इनवेस्टमेंट्स या किसी क्रिएटिव वर्क से रॉयल्टी। वही लायबिलिटी, वो चीजें होती हैं जो आपकी जेब से पैसा निकलवाती हैं। जैसे कि Cars, expensive clothes, New Phone etc।
अब इसका मतलब ये नहीं कि रिच लोग सिर्फ और सिर्फ एसेट्स खरीदते हैं, और महंगी चीजों पर पैसा खर्च नहीं करते। बल्कि वो भी Cars, expensive clothes, New Phone खरीदते हैं। लेकिन सिर्फ डिफरेंस इतना होता है कि ये सब वो अपनी मेहनत की कमाई से नहीं खरीदते। बल्कि वो अपने ऐसेट से आनेवाले प्रॉफिट या इनकम से सारे शौक पूरे करते हैं।
गुड लोन बनाम बैड लोन
रिच पैरंट्स अपने बच्चों को कहते हैं कि अगर कभी ऐसी सिचुएशन आ जाए जहां मैं बैंक से या कई और से कर्जा लेना ही पड़े तो वो इसीलिए होना चाहिए ताकि तुम उसे और पैसा बना सको। तभी वह गुड लोन कहलाया जाएगा।
For Example, कोई नया बिजनेस शुरू करने के लिए या इनवेस्टमेंट के लिए लोन लेना सही होगा। अगर कुछ समय बाद वह बिजनेस का इनवेस्टमेंट लोन का पैसा उतारने के साथ ही और बहुत सारा पैसा बना के दें, तो ये गुड लोन हुआ। क्योंकि यहां आप किसी और का पैसा यूज कर रहे हैं।
वहीं न्यू कार्स, न्यू फोन या एक्सपेंसिव चीजों के लिए लोन लेना सही नहीं होगा। क्योंकि सभी चीजें आपको फ्यूचर में और पैसा बना के नहीं देंगी और ये बैड लोन में आता है।
ज्यादा कमाएं ज्यादा बचत नहीं
पैसों को लेकर हमेशा के लिए एक लिमिटेड सोच या बजट रखना आपकी हमेशा मिडल क्लास बने रहने के चांसेस और बढ़ा देते हैं। इस फैक्ट से सक्सेसफुल फैमिलीज अच्छे से वाकिफ हैं। उनका मानना है कि बड़े एडमिशंस और डिजायर्स ही लोगों को नई राह दिखाते हैं अपने गोल्स तक पहुंचने के लिए।।वहीं अगर गोल सिर्फ एक लिमिटेड अमाउंट तक पैसा सेव करना हो या छोटी छोटी चीजों में बचाना हो तो ये लिमिटेड सोच आदमी को हमेशा मिडल क्लास बनाए रखती है।
तभी रिच लोग अपने बच्चों को इस रास्ते में जाने से रोकते हैं। बोलते हैं कि अपने डिजायर्स या जरूरतों में कंजूसी करने की जगह आप अपने ड्रीम्स और विजन बड़ा रखो और फोकस करो ज्यादा पैसा कमाने में। जो आपके डिजायर्स पूरे कर सकें और वैसी लाइफ जी सकें जैसी आप चाहते हों। Think Big
समस्याओं का समाधान करके अमीर बनें
चाहे वर्ल्ड कितना भी डेवलप होता आ रहा हो। लेकिन वर्ल्ड मैं हमेशा से ऐसी काफी प्रॉब्लम्स रही है, जिसे सॉल्व करके वर्ल्ड के कुछ सबसे सक्सेसफुल लोग रिच बनें हैं और आगे भी ऐसा ही चलता रहेगा। छोटी छोटी चीजों के लिए डिफरेंट शॉप पे जाके शॉपिंग करना एक प्रॉब्लम लगता था। वो एमेजॉन ने सॉल्व कर दिया।
लोगों को पर्सनल कंप्यूटर चाहिए, तो ऐपल बना। कहि भी बैठे बैठे टैक्सी और कैब बुक करनी है, तो ऊबर ने इस प्रॉब्लम को सॉल्व किया।
रिच लोगों को ये पता है कि अगर रियली रिच बनना है तो कोई ऐसी प्रॉब्लम ढूंढें जिसके सल्यूशन की लोगों को नीड होगी या जिसकी डिमांड हो या फिर एग्जिस्टिंग सर्विस में लूपहोल निकाल के आप अपना कुछ क्रिएट करके लोगों की प्रॉब्लम सॉल्व करें। जितनी बड़ी और हाई डिमांडिंग प्रॉब्लम सॉल्व करोगे उतने ही बड़े Chances होंगे रिच बनने के।
पैसा आपको स्वतंत्रता देता है
वेल्थ की बेस्ट बात यह कि ये हमें फ्रीडम यानी की आजादी देती है। आजादी अपने हिसाब से जीने की, आजादी किसी भी समय किसी भी जगह रहने की, आजादी कुछ भी करने की और कुछ भी बनने की। अगर आपको न्यू बिजनेस स्टार्ट करना है ओल्ड प्रोफेशन को पिक करके कुछ achiveकरके कुछ नया शुरू करना है। वर्ल्डवाइड ट्रैवल करना है या चैरिटीस में डोनेट करके हैल्प करना है। तो इन सभी के लिए required होता है, आप का डीसीजन।
ये सब चीजें करने के लिए और बिना सोचे ये फ्रीडम तभी मिल सकती है जब आप financially उतने कैपेबल हों। और मोस्ट इंपॉर्टेंट वेल्थ होने की वजह से आपको पैसे की छोटी छोटी टेंशन लेके बैठना नहीं पड़ता। बल्कि वेल्थ आपको फ्रीडम देती है चूज करने की और लाइफ को इंजॉय करने की।
सामाजिक और प्रभाव कौशल
चाहे बिजनेस हो, सेल्स हो, मार्केटिंग या गुड रिलेशनशिप्स बिल्ड करना। इन सभी के लिए Social और influencen skillबहुत इम्पॉर्टेंट है । क्योंकि यही स्किल हमें इफेक्टिव कम्युनिकेशन और ह्यूमन साइकोलॉजी को समझने में मदद करती है। कम्यूनिकेशन आपको न्यू लोगों से मिलने के साथ ही आपके लिए नई अपॉच्र्युनिटीज के दरवाजे भी खोल सकती है।
अपने आस पास के लोगों में influence डालना दूसरों को शो करता है कि कही न कही आप में लीडरशिप क्वालिटी भी है। ये स्किल्स फाइनेंशियल वर्ल्ड में बहुत जरूरी है। तभी रिच लोग अपने बच्चों को नए लोगों और बच्चों से मिलवाते हैं। तभी वह एक बेटर लीडर बन पाएंगे।
आप खास नहीं हैं
सेल्फ मेड मिलेनियर पैरंट्स ये जानते हैं कि उनका भी बाकियों की तरह नॉर्मल बर्ताव था। उनकी लाइफ में भी काफी प्रॉब्लम्स थी और उनके पास भी बाकियों की तरह ही हमेशा से दिन में 24 घंटे ही थे। तो वो किसी से special नहीं थे। वो जो बने हैं अपनी मेहनत से बने हैं, बजाय किसी लॉटरी जीतने के।
तो यही लाइफ रूल्स और विजडम रिच पैरंट्स अपने बच्चों को भी सिखाते हैं। तुम special नहीं हो और ये वर्ल्ड तुम्हारा आभारी नहीं है कि ये तुम्हें कुछ आगे देगा। यह सिर्फ तुम्हारे ऊपर है कि तुम अपना फ्यूचर कैसे बनाते हो। बजाय इन बातों में बिलीव या अंधविश्वास करने के कि तुम वर्ल्ड special हो। यह world तुम्हें कुछ नहीं देने वाला जब तक तुम खुद अपनी मेहनत करके वो चीज पाने के काबिल ना बन जाओ।
पैसे के लिए काम मत करो , पैसे आपके लिए काम करता है
गरीब और मिडिल क्लास लोग घंटों मेहनत करके अपना टाइम देने के बदले पैसा लेते हैं। और फिर उस पैसे को भी खर्च कर देते हैं। वही रिच लोग अपने पैसे का इस्तेमाल करके और पैसा बनाते हैं। यही सोच में बहुत बड़ा डिफरेंस है इन दो क्लासेस के बीच में।
जहा गरीब या मिडिल क्लास को लगता है की इन्वेस्ट करने के लिए बहुत सारे पैसे की जरूरत होती है। वही रिच लोग या रिच बनने वाले लोग अपनी इनकम से थोड़ा भी बचने वाला पैसा अपने इनकम स्ट्रीम्स को और बढ़ाने में लगाते हैं या फिर अपना टाइम सेव करने में इन्वेस्ट करते हैं।
रिच पैरंट्स अपने बच्चों को सिर्फ और सिर्फ हार्ड वर्क करने के लिए नहीं कहते बल्कि वो हार्ड वर्क प्लस स्मार्ट वर्क करने की सलाह देते हैं। यानि की पहले पैसा कमाना होगा हार्ड वर्क और उस पैसे से मल्टिपल इनकम स्ट्रीम्स क्रिएट करना होगा स्मार्ट वर्क।
पैसा सिर्फ एक टूल है, जीवन का उद्देश्य नहीं
जिन लोगों ने अपनी लाइफ में काफी लंबे समय तक या थोड़े समय के लिए भी फाइनेंशियल प्रॉब्लम्स एक्स्पीरियंस की हैं। वो जानते हैं कि ऐसे मुश्किल समय में जो उनके दिमाग में एक सिंगल थॉट चलता है वह है सिर्फ पैसा। फिर वह उसी के अकॉर्डिंग ऐक्शन लेते हैं। इसी लंबे समय तक गरीबी में रहने के कारण लोगों की पैसों के अलावा काफी बड़ी और इम्पॉर्टेंट चीजों पर ध्यान देने की क्षमता भी कम हो जाती है। उन्हें लाइफ में सिर्फ और सिर्फ पैसा ही इंपॉर्टेंट लगता है।
लेकिन रिच लोग ऐसा नहीं सोचते, और वो अपने बच्चों को ऐसे सिर्फ एकतरफा सोच से दूर रखते हैं। रिच लोगों का मानना है कि पैसा काफी इम्पॉर्टेंट चीजें हैं। लेकिन पैसा ही सबकुछ नहीं होता। बल्कि पैसा इंपॉर्टेंट टूल है जो उनको उनकी लाइफ में उनके गोल्स अचीव करने में मदद करने के साथ ही फ्रीडम और कम्फर्ट देता है। तो इसीलिए वो अपने बच्चों को पैसे की इंपॉर्टेंस सिखाने के साथ ही लाइफ में एम्बिशन और पर्पज की वैल्यू को भी सिखाते हैं। उनका मानना है कि without purpose लाइफ मीनिंग लैस होती है। तो लाइफ की तरफ एक आजाद सोच रखो ना कि एक डरी हुई सोच।
निष्कर्ष
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इस आर्टिकल में हमने देखा की अमीर लोग अपने बच्चे को कैसी बात बताते है जिनसे वह अमीर ही रहते है। तो ये बात जानकर और उसपे अमल करके आप भी आमिर बन सकते हो। मुझे आशा है की आपको ये आर्टिकल पसंद आया होगा, अगर आपको ये आर्टिकल पसंद आया तो इसे जरूर शेयर कीजिए। अगर आप इस Article से रिलेटेड कोई भी सवाल करना चाहते हैं तो उसे नीचे कमेंट बॉक्स में जरूर लिखें।